#राजनीति
March 11, 2025
रेवेन्यू डेफिसिट ग्रांट को घटाने के मुद्दे पर हिमाचल विधानसभा में हंगामा
सदन में कांग्रेस-भाजपा के बीच आरोप-प्रत्यारोप
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शिमला। हिमाचल विधानसभा में मंगलवार को केंद्र सरकार द्वारा राज्य के रेवेन्यू डेफिसिट ग्रांट को घटाने के मुद्दे पर सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच जमकर आरोप-प्रत्यारोप हुए। दोनों पक्ष के सदस्यों ने एक दूसरे पर निशाना साधा, जिससे सदन में शोर-शराबे के बीच हंगामे की स्थिति बन गई। बजट सत्र के दूसरे दिन विधायक भवानी सिंह पठानिया ने कहा कि केंद्र से मिलने वाला अनुदान हिमाचल का ही पैसा है। ये जीएसी का पैसा है, इसलिए इस पर अहसान मत जताओ।
जवाब में नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि वर्तमान सरकार को दो साल में 2872 करोड़ सेंट्रल असिस्टेंस का पैसा मिल चुका है। लेकिन सरकार के मुंह से धन्यवाद का एक भी शब्द नहीं निकला है। पांच साल के कार्यकाल मे पूर्व सरकार को मात्र 1900 रुपए करोड़ रुपए मिले थे।
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राज्यपाल के अभिभाषण में सरकार द्वारा जो भी कहा या बताया गया सब कुछ केंद्र सरकार प्रायोजित है। अपनी सरकार की नाकामियों के अलावा कुछ नहीं है। आम आदमी के साथ तो छोड़ दीजिए गौमाता के साथ भी सुख की सरकार ने छल किया। पिछले साल के बजट में सरकार ने कहा था कि गोमाता के लिए मिलने वाला अनुदान 700 से बढ़ाकर 1200 करने की घोषणा करने के बाद भूल गए। सरकार ने जो भी काम गिनवाएं हैं वह केंद्र सरकार और पूर्व की सरकारों के समय किए गए कार्य हैं। सीएम यह बताएं कि उन्होंने ख़ुद से क्या काम किए जिसका उन्होंने उद्घाटन, शिलान्यास और बजट प्रावधान किया है।
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नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि राज्यपाल ने डेढ़ घंटे का अभिभाषण पढ़ा वो तथ्य और सत्य से परे है। उन्होंने कहा कि यह एक झूठ का पुलिंदा है। प्रदेश सरकार ने अभिभाषण में 6 गारंटीयां पूरी करने का दावा किया है, लेकिन धरातल पर कोई गारंटी या पूरी नहीं हुई है।
इससे पहले हिमाचल विधानसभा के बजट सत्र के दूसरे दिन राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा करते हुए कांग्रेस के विधायक भवानी पठानिया ने केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा और हिमाचल की मदद ना करने के आरोप लगाए। भवानी ने कहा कि हिमाचल खैरात नही मांग रहा है, बल्कि हिमाचलियों के हक मांग रहे है। केंद्र सरकार किसी के घर से पैसे नहीं देती। यह हर हिमाचली का पैसा है। हिमाचल के लोग जीएसटी के रूप में टैक्स देते हैं जीएसटी का एक हिस्सा हिमाचल को मिलता है और केंद्र एक हिस्सा पास रहता है।
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केंद्र से आपदा के लिए अलग से पैसा राज्यो को मिलता है। लेकिन विपक्ष ने ये आदत बना दी है कि केंद्र सरकार पैसा दे रही है तो हिमाचल चल रहा है हिमाचल की सरकार चल रही है। हिमाचल में बीते वर्ष बड़ी आपदा आई। केंद्र की टीम सर्वे करके गई और दस हजार करोड़ के नुकसान का आंकलन किया, लेकिन अभी तक एक भी पैसा नही मिला है।
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उन्होंने कहा कि भाजपा के प्रदेश से चार सांसद और तीन राज्यसभा सांसद है, लेकिन एक बार भी उन्होंने हिमाचल के हितों की आवाज संसद के अंदर नही उठाई। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर केंद्र के समक्ष हिमाचल के हितों की आवाज उठाए, सत्तापक्ष उनके साथ चलेगा।