#राजनीति
September 8, 2025
हिमाचल सरकार वापस ले सकती है ग्रेड-पे से जुड़ा फैसला, CM सुक्खू ने दिए संकेत
चारों तरफ से विरोध का असर !
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शिमला। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने 6 सितंबर को हायर ग्रेड पे से जुड़ी नोटिफिकेशन में संशोधन कर नियम 7-ए को हटाया दिया था। इससे 89 श्रेणियों के कर्मचारियों की सैलेरी पर प्रभाव पड़ेगा। इस फैसले से कर्मचारियों की सैलेरी 5 से लेकर 20 हजार तक कम हो सकती है। राहत की बात ये है कि विरोध होने के बाद CM ने इस फैसले को वापिस लेने के संकेत दिए हैं।
बीती रात पुलिस विभाग व CM की सुरक्षा में तैनात कर्मचारी CM सुक्खू से मिले। उन्होंने CM को कर्मचारियों को होने वाले आर्थिक नुकसान से अवगत करवाया। इसपर CM ने उन्हें आश्वासन दिया कि इस मामले पर विचार किया जाएगा।
गौरतलब है कि इससे पहले मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने भी CM से बात करने की बात कही थी। वहीं, HPTDC के चेयरमैन और कैबिनेट रैंक प्राप्त आरएस बाली से भी कर्मचारियों के एक दल ने कांगड़ा में मुलाकात की थी।
बाली ने कर्मचारियों को आश्वासन दिया कि इस मामले में CM से बात की जाएगी। भाजपा के पूर्व अध्यक्ष और ऊना सदर के MLA सतपाल सिंह सत्ती ने भी इस अधिसूचना को लेकर सुखविंदर सिंह सरकार को घेरा है।
पूर्व CM एवं नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने भी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि 'मुख्यमंत्री यदि कर्मचारियों को कुछ दे नहीं सकते है तो कम से कम जो हमने दिया है उसे छीने भी नहीं'।
ऐसे में चौतरफा विरोध के बाद CM की तरफ से रविवार देर रात उनसे मिलने आए कर्मचारियों को भरोसा दिया गया कि आगामी दिनों में इस मामले पर चर्चा कर अधिसूचना को वापस लेने पर विचार किया जाएगा।.
गौरतलब है कि छठे वेतन आयोग को पहले की जयराम ठाकुर वाली सरकार ने लागू किया था। इसके जरिए कर्मचारियों को हायर ग्रेड पे दिया गया था। जयराम सरकार ने साल 2022 में एक संशोधन के जरिए हायर ग्रेड पे को लेकर नियम 7-ए जोड़ा था।
इसमें सरकारी सेवा में 3 जनवरी 2022 से पूर्व नियुक्त कर्मचारियों की कम से कम 89 श्रेणियों को दो साल का कार्यकाल पूरा होने पर हायर ग्रेड पे मिलना था। अब CM सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व वाली सरकार ने ग्रेड पे नोटिफिकेशन जारी कर नियम 7-ए को ओमिट कर दिया यानी हटा दिया।
ग्रेड पे के संशोधन से जुड़ी अधिसूचना 6 सितंबर को आई थी। इसके बाद से ही इसका विरोध चल रहा है। विरोध इसलिए क्योंकि इससे 89 श्रेणियों के कर्मचारियों की मासिक सैलरी 5 से लेकर 20 हजार रुपए तक कम हो जाएगी।