#अव्यवस्था
December 25, 2025
हिमाचल में थम जाएंगे एंबुलेंस के पहिये, आज शाम से 48 घंटे तक हड़ताल- मरीज कैसे पहुंचेंगे अस्पताल?
सुक्खू सरकार और एनएचएम की नीतियों के खिलाफ हड़ताल करेंगे एंबुलेंस कर्मी
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शिमला। हिमाचल प्रदेश की जनता के लिए जीवन रेखा बन चुकी 108 और 102 एंबुलेंस सेवाओं के पहिये थमने वाले हैं। 108 और 102 एंबुलेंस कर्मचारियों ने सुक्खू सरकार और नेशनल हेल्थ मिशन की नीतियों के खिलाफ हड़ताल करने का फैसला लिया है।
इस हड़ताल से प्रदेश की जनता को नुकसान उठाना पड़ सकता है। 108 और 102 एंबुलेंस कर्मचारियों के अनुसार, वह आज रात आठ बजे से अगले 48 घंटे की हड़ताल पर जाएंगे- यानी 27 दिसंबर 8 बजे तक एंबुलेंस कर्मी हड़ताल पर रहेंगे।
इस हड़ताल से मरीजों को काफी परेशानी झेलनी पड़ सकती है। एंबुलेंस कर्मचारी यूनियन (सीटू संबंधित) ने साफ कहा है कि सरकार की उपेक्षा और शोषणकारी नीतियों के चलते अब उनके पास आंदोलन के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है। उनका कहना है कि NHM की ओर से उनकी लंबित मागों को नजरअंदाज किया जा रहा है। प्रशासन कंपनी के हित में काम कर रहा है।
विदित रहे कि, हिमाचल में हड़ताल अक्सर हक की आवाज बनती रही है, लेकिन इस बार तस्वीर कुछ अलग है। अपनी जायज मांगों को लेकर सड़क पर उतरने की तैयारी कर रहे 108 और 102 एंबुलेंस कर्मियों को सरकार ने साफ संदेश दे दिया है। आवाज उठाओ, लेकिन काम मत छोड़ो।
एंबुलेंस कर्मचारियों ने जैसे ही हड़ताल का नोटिस दिया, सुक्खू सरकार ने हिमाचल प्रदेश आवश्यक सेवाएं अनुरक्षण अधिनियम (एस्मा) लागू कर कानून का डंडा चला दिया, जिसमें अब हड़ताल करने वाले एंबुलेंस कर्मचायिों की नौकरी तक जा सकती है।
एंबुलेंस से जुड़े यह कर्मचारी 25 दिसंबर रात आठ से 27 दिसंबर रात आठ बजे तक प्रस्तावित 48 घंटे की हड़ताल करेंगे। इसको लेकर इन कर्मचारियों ने सरकार को नोटिस भी थमा दिया है। लेकिन इन कर्मियों का नोटिस मिलते ही सरकार ने अपना डंडा चला दिया। सरकार ने इन सेवाओं पर Essential Services Maintenance Act (ESMA) लागू कर दिया है। एस्मा लागू होने के बाद अब हड़ताल, कार्य बहिष्कार या ड्यूटी से अनुपस्थिति अब कानूनन अपराध की श्रेणी में आ गया है।
सरकार के इस फैसले से एक बात तो स्पष्ट कर दी है कि एंबुलेंस कर्मचारी अपनी मांगें तो रख सकते हैं, लेकिन हड़ताल या कार्य बहिष्कार का रास्ता उनके लिए बंद कर दिया गया है। एस्मा लागू करने वाली सुक्खू सरकार ने स्प्ष्ट संकेत दिया है कि आपातकालीन सेवाओं से किसी भी तरह का समझौता नहीं किया जाएगा। 108 और 102 एंबुलेंस सेवाएं आम लोगों के लिए जीवन रेखा हैं और इन्हें ठप करने की इजाजत किसी भी सूरत में नहीं दी जा सकती।
एस्मा लागू होने के बाद अब एंबुलेंस कर्मियों द्वारा हड़ताल पर जाना, ड्यूटी से अनुपस्थित रहना या सेवा देने से इनकार करना कानूनन अपराध की श्रेणी में आ गया है। आदेशों की अवहेलना करने पर कर्मचारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा सकती है, जिसमें वेतन कटौती से लेकर सेवा समाप्ति तक का प्रावधान शामिल है। सीधे शब्दों में कहें तो हड़ताल पर गए कर्मियों की नौकरी भी जा सकती है।
एंबुलेंस कर्मचारियों की हड़ताल का नोटिस मिलने के बाद राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन ने भी स्पष्ट कर दिया है कि 108 और 102 एंबुलेंस सेवाएं आवश्यक सेवाओं में आती हैं। मिशन निदेशक की ओर से प्रदेश के सभी उपायुक्तों और पुलिस अधीक्षकों को अलर्ट रहने के निर्देश जारी किए गए हैं, ताकि किसी भी स्थिति में आपातकालीन स्वास्थ्य सेवाएं प्रभावित न हों और कानून.व्यवस्था बनी रहे।
वहीं, एंबुलेंस सेवाओं का संचालन करने वाली संस्था मेड्सवान फाउंडेशन पहले ही यह स्पष्ट कर चुकी है कि तय अवधि के दौरान सभी कर्मचारियों की ड्यूटी अनिवार्य रहेगी। किसी भी प्रकार का अवकाश स्वीकृत नहीं किया जाएगा और नियमों की अनदेखी करने वालों पर कानूनी कार्रवाई होगी।
वहीं एंबुलेंस कर्मचारियों की हड़ताल पर सुक्खू सरकार द्वारा जारी किए एस्मा पर कांट्रेक्ट वर्कर यूनियन के महासचिव बालकराम ने कहा कि यूनियन ने हड़ताल का फैसला लिया है और वह उस पर कायम हैं। बालकराम ने कहा कि कंपनी कर्मचारियों का शोषण कर रही है।
EPF के दोनों शेयर कर्मचारियों के वेतन से ही काटे जा रहे हैं। स्वास्थ्य सचिव व निदेशक हमें अपना कर्मचारी मानने तक को तैयार नहीं हैं। ऐसे में सरकार को एस्मा हम पर नहीं बल्कि कंपनी पर लगाया जाना चाहिए।
दूसरी ओर एंबुलेंस कर्मियों का दर्द भी कम नहीं है। वर्षों से सेवा दे रहे ये कर्मचारी वेतन विसंगतियों, न्यूनतम वेतन के अधूरे भुगतान, समय पर सैलरी न मिलने, सामाजिक सुरक्षा सुविधाओं और सेवा सुरक्षा जैसी मांगों को लेकर खुद को शोषित महसूस कर रहे हैं। यूनियन नेताओं का कहना है कि बार.बार सरकार के समक्ष समस्याएं रखी गईं, लेकिन सुनवाई नहीं हुई।
सीटू अध्यक्ष विजेंद्र मेहरा ने कहा कि NHM के अधीन कार्यरत कर्मचारियों को-