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June 25, 2025
सुक्खू सरकार की नई पहल, घायलों को अस्पताल पहुंचाने वाले को मिलेगा एक लाख
घायलों को जीवनदान देगी राह वीर स्कीम
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शिमला। हिमाचल प्रदेश में सड़क हादसे थमने का नाम नहीं ले रही हैं। आए दिन भयानक सड़क हादसे पेश आना सूबे में अब आम सी बात हो गई है। इन हादसों में कई लोग अपनी जान भी गवां रहे हैं। बहुत बार ऐसा होता है कि कुछ लोगों की समय पर इलाज का मिलने के कारण मौत हो जाती है।
इसी सब को देखते हुए सुक्खू सरकार ने एक बड़ा फैसला लिया है। जिसमें दुर्घटना में घायल व्यक्ति को समय रहते अस्पताल पहुंचाने वाले व्यक्ति को सरकार की ओर से प्रोत्साहन राशी दी जाएगी।
जानकारी के आनुसार, हिमाचल प्रदेश सरकार ने सड़क हादसों में घायलों को समय पर उपचार दिलवाने और मृत्यु दर में उल्लेखनीय कमी लाने के उद्देश्य से एक बेहद सराहनीय और मानवीय योजना की शुरुआत की है। प्रदेश सरकार ने मृत्यु दर को कम करने के लिए एक नई पहल की है- जिसके अंतर्गत घायल को अस्पताल ले जाने वाले व्यक्ति को 25 हजार तक की राशी दी जाएगी।
वहीं, अगर कोई व्यक्ति घायलों को 3 बार समय रहते अस्पताल पहुंचाता है तो सरकार की ओर से उस मददगार को 1 लाख रुपये तक मिलेगा। सरकार का मानना है कि इससे हादसे में घायल व्यक्ति को समय रहते इलाज मिल पाएगा और मृत्यु दर भी कम होगा।
आपको बता दें कि केंद्र सरकार की ओर से 3 अक्टूबर 2021 को नेक व्यक्ति स्कीम योजना लागू की गई थी। जिसे अब एक नए रूप में 'राह वीर योजना' के नाम से पुनः लॉन्च किया गया है। इस पहल का मकसद है सड़क दुर्घटना के तुरंत बाद ‘गोल्डन आवर’ में घायलों को प्राथमिक इलाज दिलाकर उनकी जान बचाना।
इस स्कीम का लक्ष्य सड़क दुर्घटना में मृत्यु दर को कम करना है। सरकार ने इस स्कीम का नाम नेक व्यक्ति स्कीम से बदलकर अब राह वीर रखा है। इस स्कीम का मकसद लोगों में घायलों की जान व इलाज के लिए सहायता करने को जागरूक करना है।
विदित रहे कि, हर दिन लगभग 6-7 लोग सड़क दुर्घटना में घायल होते हैं। मगर सही समय पर उपचार ना मिलने के कारण लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ती है। मगर अब ऐसा नहीं होगा। हिमाचल प्रदेश सरकार ने इस योजना को और प्रभावी बनाने के लिए एक ऑनलाइन मॉनिटरिंग सिस्टम भी विकसित किया है। यदि राज्य में किसी भी स्थान पर सड़क दुर्घटना होती है, तो उसकी जानकारी तुरंत पुलिस, परिवहन विभाग और लोक निर्माण विभाग (PWD) को भेजी जाएगी।
इससे घायल को समय रहते अस्पताल पहुंचाया जाएगा- जहां पर उसे कैशलेस योजना के चलते निशुल्क उपचार दिया जाएगा। दरअसल, परिवहन विभाग का लक्ष्य है कि वर्ष 2030 तक सड़क हादसों में होने वाली मौत की दर में 50 प्रतिशत तक की कमी लाई जाए। इसके लिए न सिर्फ जागरूकता फैलाने की जरूरत है बल्कि त्वरित राहत, सड़क संरचना में सुधार और जवाबदेही तय करने पर भी जोर दिया जा रहा है।
जानकारी देते हुए ट्रांसपोर्ट रोड सेफ्टी अतिरिक्त आयुक्त SD नेगी ने बताया कि राह वीर स्कीम पूरे हिमाचल के लिए लागू है। इस स्कीम की निगरानी जिला स्तर पर DC, संबधित अस्प्ताल के चिकित्सा अधिकारियों द्वारा रखी जा रही है।