#राजनीति
October 14, 2025
CM सुक्खू के आने से पहले धरने पर बैठे BJP विधायक, नेरचौक मेडिकल कॉलेज स्थानातंरण पर दी चेतावनी
विधायक इंद्र सिंह गांधी मेडिकल कॉलेज के बाहर धरने पर बैठ
शेयर करें:
मंडी। हिमाचल प्रदेश में अटल मेडिकल यूनिवर्सिटी के स्थानांतरण को लेकर सियासी पारा तेजी से चढ़ गया है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेरचौक दौरे के बीच मंगलवार को भाजपा विधायक इंद्र सिंह गांधी मेडिकल कॉलेज के बाहर धरने पर बैठ गए। यूनिवर्सिटी को बल्ह से सरकाघाट शिफ्ट करने के फैसले ने विपक्ष और सत्ता पक्ष के बीच सीधी टक्कर का माहौल बना दिया है।
नेरचौक मेडिकल कॉलेज के गेट पर भाजपा विधायक इंद्र सिंह गांधी, जिला परिषद अध्यक्ष पाल वर्मा और बड़ी संख्या में भाजपा कार्यकर्ताओं ने धरना प्रदर्शन कर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। प्रदर्शनकारियों ने मुख्यमंत्री से मांग की कि सरकार यूनिवर्सिटी को बल्ह से न हटाए, अन्यथा आंदोलन और उग्र किया जाएगा।
यह भी पढ़ें : सोनिया-प्रियंका के बाद अब राहुल गांधी भी पहुंचे शिमला, सीएम सुक्खू-विक्रमादित्य सिंह ने किया स्वागत
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने 15 अगस्त के भाषण में अटल मेडिकल यूनिवर्सिटी को सरकाघाट स्थानांतरित करने की घोषणा की थी। इसके बाद से ही बल्ह क्षेत्र में इस फैसले को लेकर नाराजगी का माहौल है। स्थानीय लोग और भाजपा नेता इसे क्षेत्र के साथ अन्याय बता रहे हैं। नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर भी सीएम सुक्खू के इस फैसले पर ऐतराज जता चुके हैं।
विधायक इंद्र सिंह गांधी ने कहा कि साल 2019 से यूनिवर्सिटी बल्ह में कार्यरत है और यहां पर्याप्त भूमि भी उपलब्ध है। बिना किसी तर्कसंगत कारण के सरकार इसे सरकाघाट क्यों ले जाना चाहती है, यह समझ से परे है। मुख्यमंत्री को इस फैसले पर पुनर्विचार करना चाहिए। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार ने मांगें नहीं मानीं तो आंदोलन को चरणबद्ध तरीके से तेज किया जाएगा।
धरने पर प्रतिक्रिया देते हुए पूर्व विधायक और कांग्रेस नेता प्रकाश चौधरी ने भाजपा पर राजनीतिक ड्रामा करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि अटल मेडिकल यूनिवर्सिटी कांग्रेस सरकार की देन है। बल्ह के विधायक को नारेबाजी करने की बजाय मुख्यमंत्री से शांतिपूर्वक बातचीत करनी चाहिए थी। केवल विरोध जताने से कुछ नहीं होगा। प्रकाश चौधरी ने दावा किया कि मुख्यमंत्री पहले ही उचित समाधान का आश्वासन दे चुके हैं। बीजेपी को जनता को गुमराह करने के बजाय रचनात्मक बातचीत में शामिल होना चाहिए।
मंडी में सियासी हलचल के बीच मुख्यमंत्री सुक्खू का यह दौरा राजनीतिक दृष्टि से बेहद अहम माना जा रहा है। माना जा रहा है कि सीएम इस विवाद पर कोई महत्वपूर्ण घोषणा कर सकते हैं। प्रशासन ने मौके पर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए हैं और हालात पर नज़र बनाए हुए है।
अटल मेडिकल यूनिवर्सिटी को लेकर मंडी में जो माहौल बन रहा है, उससे साफ है कि आने वाले दिनों में यह मुद्दा प्रदेश की राजनीति में बड़ा सियासी हथियार बन सकता है। भाजपा इसे जनभावनाओं से जोड़ रही है, जबकि कांग्रेस सरकार फैसले को प्रशासनिक दृष्टि से उचित ठहरा रही है। फिलहाल, सभी की निगाहें मुख्यमंत्री के अगले कदम पर टिकी हैं। यदि सरकार ने अपना रुख नहीं बदला तो मंडी में राजनीतिक टकराव और गहराने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता।