#विविध
October 6, 2025
कुल्लू दशहरा उत्सव : नहीं थम रहा तहसीलदार विवाद, अब पुलिस के पास पहुंचा देवता का हरियान
देवता के शिविर में जूते पहनकर पहुंचा तहसीलदार- भड़का मुद्दा
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कुल्लू। हिमाचल प्रदेश में अंतरराष्ट्रीय कुल्लू दशहरा उत्सव में तहसीलदार हरि सिंह यादव की पिटाई का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। विवाद का मामला अब शांत होने के बजाय और भी उलझता जा रहा है।
घटना के पांच दिन बाद भी दोनों पक्षों में आरोप-प्रत्यारोप जारी हैं। तहसीलदार जहां अपनी पिटाई के लिए देवता भृगु ऋषि के हरियानों को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं और उनके खिलाफ FIR दर्ज करवा चुके हैं। वहीं, अब देवता के हरियान भी तहसीलदार पर अभद्र व्यवहार और धार्मिक आस्था का अपमान करने का आरोप लगा रहे हैं।
रविवार को देवता भृगु ऋषि के हरियान ASP कुल्लू कार्यालय पहुंचे और युवक राहुल की ओर से एक लिखित शिकायत सौंपी। शिकायत में कहा गया है कि दशहरा उत्सव के दौरान तहसीलदार हरि सिंह ढालपुर मैदान में स्थित देवता के अस्थाई शिविर में जूते पहनकर पहुंचे।
जब हरियान राहुल ने उन्हें विनम्रता से जूते उतारने का अनुरोध किया, तो तहसीलदार ने रुतबा दिखाते हुए अभद्र भाषा का प्रयोग किया और देवता की उपस्थिति में बदसलूकी की। राहुल के परिजनों ने तहसीलदार पर आरोप जड़े हैं।
उनका आरोप है कि इसके बाद जब देव समाज ने तहसीलदार से माफी मांगने के लिए कहा, तो उन्होंने राहुल को धमकाया और कहा कि “तुझे और देवता को जेल में ठोकूंगा।” इस बयान ने स्थिति को भड़काया और मौके पर हंगामा हो गया। देवता पक्ष ने कहा कि इस पूरे प्रकरण से धार्मिक भावनाएं आहत हुई हैं और प्रशासन को तहसीलदार के खिलाफ भी समान कार्रवाई करनी चाहिए।
देवता भृगु ऋषि के प्रतिनिधि अमन सूद ने एएसपी कुल्लू को सौंपे गए ज्ञापन में कहा कि तहसीलदार हरि सिंह को तत्काल कुल्लू से ट्रांसफर किया जाए और उनके व्यवहार की न्यायिक जांच करवाई जाए। उन्होंने आरोप लगाया कि यह पहला मामला नहीं है- तहसीलदार 2023 और 2024 में भी देवताओं के साथ अभद्रता कर चुके हैं, लेकिन तब प्रशासन ने कोई सख्त कदम नहीं उठाया था।
उधर, तहसीलदार हरि सिंह ने अपनी ओर से पहले ही पुलिस में शिकायत दर्ज करवा दी है कि दशहरा के उद्घाटन के दिन देवता भृगु ऋषि के हरियानों ने उन पर हमला किया, उन्हें धक्का-मुक्की कर खदेड़ा और जान से मारने की धमकी दी। घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था, जिसमें तहसीलदार को भागते हुए और भीड़ द्वारा पीछा किए जाते हुए देखा गया था।
ASP कुल्लू ने पुष्टि की है कि अब पुलिस के पास दोनों पक्षों की शिकायतें पहुंच चुकी हैं। उन्होंने कहा कि मामले की जांच निष्पक्ष तरीके से की जाएगी और जो भी दोषी पाया जाएगा, उसके खिलाफ कार्रवाई होगी।
कुल्लू का अंतरराष्ट्रीय दशहरा हिमाचल की धार्मिक और सांस्कृतिक पहचान है, जहां देव परंपरा सर्वोपरि मानी जाती है। ऐसे में इस तरह की घटना से पूरे उत्सव की गरिमा पर प्रश्नचिह्न लग गया है। स्थानीय लोगों का कहना है कि प्रशासन और देव समाज दोनों को संयम और संवाद से समस्या का हल निकालना चाहिए ताकि भविष्य में ऐसी स्थिति दोबारा न बने।
इस घटना के बाद तहसीलदार के परिवार ने जिला प्रशासन और पुलिस पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। तहसीलदार की बेटी डॉ अंशुमाला ने कहा कि जब प्रदर्शनी मैदान में मेरे पिता को सरेआम घसीटा और पीटा जा रहा था, उस वक्त वहां पर तैनात 1200 से अधिक पुलिस और होमगार्ड जवान आखिर कहां थे? उन्होंने आरोप लगाया कि दशहरा जैसे अंतरराष्ट्रीय उत्सव में इतनी भारी पुलिस तैनाती के बावजूद किसी ने रोकने या बचाने का प्रयास नहीं किया।
अंशुमाला ने कहा कि देव आस्था के नाम पर उनके पिता के साथ षड्यंत्रपूर्वक अभद्रता की गई। उन्होंने बताया कि यह घटना कोई अचानक नहीं, बल्कि पिछले तीन साल से लगातार किए जा रहे हमलों और साजिशों का हिस्सा है। मेरे पिता सरकारी कार्य में तैनात थे, निजी काम से वहां नहीं गए थे। मगर फिर भी उन्हें निशाना बनाया गया और पुलिस-प्रशासन तमाशा देखता रहा।
अंशुमाला ने कहा कि उनके पिता के साथ की गई बदसलूकी का वीडियो जमकर वायरल हुआ है। जिससे उनके पिता ही नहीं बल्कि पूरा परिवार गहरे सदमें में है। तहसीलदार की बेटी और पत्नी का आरोप है कि देव आस्था के नाम पर तहसीलदार हरि सिंह के साथ देवलुओं ने गुंडागर्दी की। उन्होंने सवाल उठाया कि अगर एक प्रशासनिक अधिकारी के साथ ही इस तरह का व्यवहार हो सकता है तो आम जनता के साथ किस तरह का व्यवहार होगा। परिवार ने पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों से इस पूरे मामले की जांच करने और आरोपियों के खिलाफ सख्त सजा की मांग करते हुए न्याय मांगा है।