#राजनीति
September 27, 2025
बड़ी खबर: मंत्री-विधायक का लंदन-फ्रांस दौरा स्थगित हो गया, इन चार वजहों से हुई किरकिरी
स्वास्थ्य मंत्री के बेटे को लिख दिया था अपराधी
शेयर करें:

शिमला। हिमाचल प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री धनी राम शांडिल के नेतृत्व में उनके बेटे, विधायकों और अफसरों का एक दल लंदन और फ्रांस दौरे पर जाने वाला था। बड़ी खबर ये है कि इस दौरे को स्थगित कर दिया गया है। बताया गया कि अगले 6 महीने में कभी भी ये दल विदेश दौरे पर जा सकता है। आखिर ऐसी कौन सी वजह रही कि पहले इस दौरे को लेकर स्वास्थ्य विभाग ने चिट्ठी जारी की और फिर अब इस दौरे को स्थगित कर दिया गया। आइए यही जानने की कोशिश करते हैं।
यह भी पढ़ें : हिमाचल सरकार ने बदला फैसला: अब ये छात्र ले जा सकेंगे स्कूल में मोबाइल- पूरी डिटेल यहां पढ़ें
जब से इस दौरे को लेकर स्वास्थ्य विभाग ने चिट्ठी जारी की है, तब से चार ऐसी चीजें सामने आ चुकी हैं जिससे इस दौरे को लेकर बवाल हो रहा है।
बताया गया था कि इस दौरे का खर्च हिमाचल प्रदेश मेडिकल सर्विसेज कॉर्पोरेशन लिमिटेड के ब्याज से हुई बचत से उठाया जाएगा। हवाई यात्रा, वीजा शुल्क, आवास, बीमा व स्थानीय परिवहन का खर्च भी इसमें शामिल है। ये पहली वजह रही जिससे बवाल हो गया।
दूसरा बवाल तब हुआ जब चिट्ठी में प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री धनीराम शांडिल के बेटे संजय शांडिल का नाम शामिल देखा गया। सबका यही सवाल था कि वो इस दौरे पर क्यों जा रहे हैं, वो भी तब जब सरकार इसका खर्च उठा रही है।
यह भी पढ़ें : हिमाचल में बढ़ने लगी गर्मी, विभिन्न शहरों में सामान्य से ज्यादा पहुंचा पारा; अगले 6 दिन खिली रहेगी धूप
तीसरा बवाल तब हुआ जब लिस्ट में दो विधायकों के नाम देखे गए। अकसर जब भी कोई विदेश दौरा होता है तो उसमें उसी विभाग से जुडे हुए लोग जाते हैं, जिस विभाग से संबंधित यह विदेश दौरा होता है। ऐसे में यह दौरा स्वास्थ्य विभाग से जुड़ा हुआ है और इस दौरे में स्वास्थ्य विभाग से जुड़े लोगों का ही नाम शामिल होना चाहिए था। बावजूद इसके विदेश दौरे की लिस्ट में कांग्रेस के दो विधायकों संजय रतन और कैप्टन रणजीत राणा का नाम भी शामिल किया गया है। यानी सरकारी खर्चे पर इन दो विधायकों को भी विदेश की सैर करवाने की योजना पर भी विभाग की किरकिरी हो रही है।
चौथा बवाल तब हुआ जब स्वास्थ्य विभाग से जारी चिट्ठी में स्वास्थ्य मंत्री के बेटे को 'accomplice' ऑफ हेल्थ मिनिस्टर लिखा गया जिसका हिंदी अर्थ सह अपराधी होता है। इस गलती के चलते भी स्वास्थ्य विभाग की किरकिरी हो रही है। इस गलती पर कई पत्रकारों ने मजे लिए।
वहीं नेता प्रतिपक्ष ने भी इस मुद्दे पर अपनी राय रखी और सरकार को बेशर्म तक कह डाला। ठाकुर ने लिखा- "आपदा की वजह से पूरा प्रदेश त्रस्त है। अब तक न तो सड़कें बहाल हो पाई हैं, न ही बिजली, पानी जैसी अन्य सुविधाएं। लोग अस्पतालों में बिना इलाज के दर-दर भटक रहे हैं। हिम केयर का भुगतान न होने की वजह से कैंसर के मरीजों का इलाज बीच में ही रुक रहा है लेकिन स्वास्थ्य विभाग सरकारी खर्चे पर परिवार और मित्रों के साथ लंदन पेरिस घूमने का प्लान बना रहा है। यह व्यवस्था परिवर्तन वाली बेशर्म सरकार है।"
यह भी पढ़ें : हिमाचल में बेरोजगारों के लिए बड़ी खबर, इस विभाग में 4852 पदों पर शुरू होगी भर्ती
नेता व अफसरों का 10 सदस्यीय दल 2 अक्टूबर को विदेश दौरे के लिए रवाना होने वाला था जो 11 अक्टूबर तक जारी रहने वाला था। इस दौरे के दौरान ये टीम विदेशों में स्वास्थ्य सुविधाओं की जांच करती ताकि प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में भी बेहतर सुविधाएं दी जा सकें।