#अपराध
July 4, 2025
हिमाचल : बड़ी डील करने जा रहा था युवक, सप्लाई करने से पहले हो गया पुलिस से सामना- पहुंचा जेल
गश्त पर थी पुलिस टीम- शक के आधार पर ली युवक की तलाशी
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कुल्लू। हिमाचल प्रदेश में पुलिस टीम द्वारा नशा तस्करों पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है। पुलिस टीम आए दिन कई तस्करों को गिरफ्तार कर हवालात की सैर करवा रही है। इसी कड़ी में अब ताजा मामला जिला कूल्लु के पर्यटक स्थल से सामने आया है- जहां पुलिस टीम ने एक युवक को भारी मात्रा में चरस के साथ गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है।
पुलिस टीम को ये सफलता रूटीन गश्त के दौरान मिली है। पुलिस टीम ने आरोपी से 1 किलो 885 ग्राम चरस बरामद की है। पुलिस टीम ने आरोपी के खिलाफ NDPS एक्ट के तहत मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है।
मिली जानकारी के अनुसार, बीते कल पुलिस टीम मणिकर्ण के जय नाला इलाके में नियमित गश्त पर थी। इसी दौरान टीम ने वहां पर संदिग्ध युवक को देखा। पुलिस को देखकर युवक घबराने लगा। ऐसे में पुलिस जवानों ने शक के आधार पर युवक की तलाशी ली तो पुलिस टीम को उसके कब्जे से चरस की खेप बरामद हुई।
इसके बाद पुलिस टीम ने तुरंत कार्रवाई करते हुए युवक को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी की पहचान दिनेश बिक्का पुत्र मन बहादुर बिक्का निवासी आंचल भेरी गांव, नेपाल के रूप में हुई है। पुलिस टीम द्वारा दिनेश के खिलाफ मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई अमल में लाई जा रही है। जांच में पाया गया है कि युवक कहीं डील करने जा रहा था, लेकिन उससे पहले ही उसका सामना पुलिस से हो गया।
मामले की पुष्टि करते हुए ANTF कुल्लू के DSP हेमराज वर्मा ने कहा कि नशीले पदार्थों के तस्करों के खिलाफ अभियान जारी रहेगा और इस तरह के किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा। आज आरोपी को कोर्ट में पेश कर उसे पुलिस रिमांड पर लिया जाएगा। पुलिस टीम द्वारा आरोपी से पूछताछ कर पता लगाया जाएगा कि वो ये खेप कहां से लाया था और कहां लेकर जा रहा था।
उल्लेखनीय है कि हिमाचल प्रदेश जैसे शांत पहाड़ी राज्य में नशे की तस्करी का जाल दिन-ब-दिन गहराता जा रहा है। खासकर चिट्टा (हेरोइन), अफीम और गांजे की तस्करी के मामलों में तेजी से वृद्धि हो रही है। चिंता की बात यह है कि इस अवैध कारोबार को सिर्फ स्थानीय तस्कर ही नहीं, बल्कि पंजाब, हरियाणा, उत्तराखंड और दिल्ली जैसे बाहरी राज्यों के संगठित गिरोह भी बढ़ावा दे रहे हैं।
पुलिस और नारकोटिक्स विभाग की रिपोर्टों के अनुसार, राज्य के सीमावर्ती जिले- कांगड़ा, ऊना, सोलन और मंडी तस्करों के लिए प्रमुख रूट बनते जा रहे हैं। ये तस्कर युवा पीढ़ी को अपना आसान शिकार बना रहे हैं, जिससे स्कूल-कॉलेज के छात्र तक इस दलदल में फंस रहे हैं।
हाल ही में पकड़े गए कई मामलों में यह सामने आया है कि बाहरी राज्यों से आए तस्कर स्थानीय युवाओं को आर्थिक प्रलोभन देकर तस्करी के जाल में फंसा रहे हैं। सरकार और पुलिस प्रशासन नशे के खिलाफ अभियान चला रहे हैं। पुलिस का कहना है कि जब तक समाज जागरूक नहीं होगा और युवाओं को सही दिशा नहीं मिलेगी, तब तक इस बढ़ते खतरे को रोक पाना मुश्किल होगा।