#राजनीति
January 10, 2025
हिमाचल: अब नहीं चलेगी पंचायत प्रधान की मनमर्जी, SDM-बीडीओ तय करेंगे BPL परिवार
बीपीएल सूची से बाहर होंगे गाड़ी-कोठी वाले परिवार
शेयर करें:
शिमला। हिमाचल की कांग्रेस सरकार ने बीते रोज गुरुवार को हुई कैबिनेट बैठक में बड़ा फैसला करते हुए बीपीएल सूची में फेरबदल करने का फैसला लिया है। यानी अब सरकार बीपीएल सर्वेक्षण दोबार से करेगी और बीपीएल सूची में शामिल गाड़ी और कोठी वाले परिवारों को सूची से बाहर निकाला जाएगा।
सुक्खू सरकार अप्रैल माह से बीपीएल सर्वेक्षण का काम शुरू करवाने वाली है। बड़ी बात यह है कि इस बार बीपीएल में पंचायत प्रधान भी अपनी मनमर्जी से बीपीएल परिवारों का चयन नहीे कर सकेंगे। इसके लिए एसडीएम और बीडीओ की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाई जाएगी और यह कमेटी ही हर पंचायत में बीपीएल सूची को फाइनल करने से पहले उसका निरीक्षण करेगी।
यह भी पढ़ें : हिमाचल में इस दिन होगी थल सेना की अग्निवीर भर्ती रैली, जानें पूरी डिटेल
इससे पहले पंचायत प्रधान ग्राम सभा में बीपीएल परिवारों के नाम तय करते थे और फिर उनकी सूची बनाकर संबंधित विभाग को भेज देते थे। हालांकि सूची तैयार होने के बाद उसमें भी अपील की व्यवस्था थी, लेकिन बीपीएल सूची में केवल गरीब परिवार ही सम्मिलित किए जाते हैं। ऐसे में गरीब परिवार का कोई सदस्य अपील करने के लिए एसडीएम जैसे बड़े अधिकारी के समक्ष जाने से कतराता था।
ऐसे में सरकार ने अब इसमें बड़ा फेरबदल करते हुए अब बीपीएल सूची बनाने को अंतिम रूप देने के लिए एसडीएम और बीडीओ की कमेटी को काम सौंपा है। यह कमेटी ही फाइनल होने से पहले सूची का निरीक्षण करेगी और उसके बाद ही सूची को फाइनल किया जाएगा।
सरकार ने इस बार बीपीएल सूची के लिए नए मापदंड तय किए हैं। नए मापदंड ग्रामीण विकास और पंचायतीराज विभाग की ओर से तैयार किए गए थे, जिन्हें कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है। बीपीएल चयन में फर्जीवाड़ा पकड़ने का दायित्व एसडीएम और बीडीओ की दो सदस्यीय कमेटी को सौंपने की व्यवस्था की गई है।
इसके अलावा नए मापदंड के अनुसार बीपीएल परिवारों की आय सीमा 2500 रुपए मासिक से बढ़ाकर 12,500 रुपए मासिक करने का फैसला लिया गया है। सरकार ने महिला मुखिया वाले परिवारए ऐसे परिवार जिनके मुखिया की विकलांगता 50 फीसदी या इससे अधिक हैए ऐसे परिवार जिन्होंने पिछले वित्त वर्ष में मनरेगा के तहत कम से कम 100 दिन काम किया है और ऐसे परिवार जिनके कमाने वाले सदस्य कैंसर, अल्जाइमर, पार्किंसंस, मस्कुलर डिस्ट्रॉफी या थैलेसीमिया से पीड़ित हैं या जिसके कारण स्थायी विकलांगता हो सकती है, ऐसे सभी परिवार बीपीएल सूची में शामिल होंगे।