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September 10, 2024

फ्री के इलाज वाली नई स्कीम: जानें किसे मिलेगा डेढ़ लाख का मुफ्त इलाज ?

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शिमला। हिमाचल ही नहीं बल्कि पूरे देश में सड़क हादसों में कई लोगों की मौत हो जाती है। ज्यादातर मौतें अचानक हुए सड़क हादसे के बाद पैसों की कमी के चलते घायल को उचित उपचार ना मिल पाने से होती हैं। इन मौतों को कम करने के लिए अब भारत सरकार ने नई योजना शुरू कर रही है। इस योजना में किसी भी सड़क दुर्घटना में घायल हुए पीड़ित को तुरंत ही कैशलैस उपचार प्रदान किया जाएगा। भारत सरकार कैशलेस उपचार प्रदान करने के लिए एक पायलट कार्यक्रम शुरू कर रही है।

सड़क हादसे के घायल को गोल्डन ऑवर में मिलेगा फ्री इलाज

दरअसल राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण ने सड़क हादसों में घायल को गोल्डन ऑवर के दौरान बिना देर किए डेढ़ लाख रुपए तक के कैशलेस उपचार की सुविधा प्रदान करने की योजना शुरू करने जा रही है। इस योजना को शुरू करने का उद्देश्य घायलों को किसी भी वित्तीय बाधा में तत्काल चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करवाना है। सडक़ परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के तत्वावधान से इस मोटर वाहनों का पायलट कार्यक्रम को विकसित किया गया है। यह भी पढ़ें: CM सुक्खू और उनके भाई के खाते में गए भ्रष्टाचार के पैसे, BJP विधायक का सीधा आरोप

कैशलेस उपचार योजना को इन बिंदूओं से समझें

  • सड़क हादसे में घायलों को अस्पतालों में तुरंत मिलेगा फ्री इलाज
  • सड़क दुर्घटना में घायल को 1.50 लाख तक का मिलेगा फ्री इलाज
  • सडक़ परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय पायलट कार्यक्रम के तहत शुरू कर रही योजना
  • असम और चंडीगढ़ में शुरू की जा रही योजना, नतीजे आने के बाद पूरे देश में शुरू करने पर होगा विचार
  • घायल दुर्घटना की तारीख से अधिकतम सात दिनों तक 1.50 लाख के कैशलेस उपचार का रहेगा हकदार
  • सड़क पर किसी भी तरह के वाहन दुर्घटना में मिलेगा यह 1.50 लाख का फ्री इलाज
  • अस्पतालों को मोटर वाहन दुर्घटना निधि से दिया जाएगा पैसा

दुर्घटना से सात दिन तक कैशलेस उपचार ले सकेगा पीड़ित

भारत सरकार इस योजना को अभी दो राज्यों असम और चंडीगढ़ में शुरू कर रही है। यहां से आने वाले परिणामों के बाद इसे पूरे देश में शुरू करने पर विचार किया जाएगा। राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण अस्पतालोंए पुलिसए राज्य स्वास्थ्य एजेंसी के समन्वय से इस पायलट कार्यक्रम को आगे बढ़ा रही है। पायलट कार्यक्रम के तहत पीडि़त अधिकतम डेढ़ लाख रुपए तक कैशलेस इलाज के हकदार होंगे। दुर्घटना की तारीख से अधिकतम सात दिनों की अवधि के लिए घायल प्रति व्यक्ति 1.50 लाख रुपए का कैशलेस उपचार का हकदार होगा। यह भी पढ़ें: संजौली मामले पर सरकार का एक्शन, बाहरी लोगों के लिए पॉलिसी बनाएगी सरकार

अस्पतालों को कौन देगा पैसा

राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण के अनुसार यह योजना किसी भी श्रेणी की सड़क पर मोटर वाहन के उपयोग से होने वाली दुर्घटना पर लागू होगी। इस योजना में आघात और बहुआघात के मामलों के लिए एबी पीएम-जेएवाई पैकेज को सहयोजित किया जा रहा है। उपचार प्रदान करने के लिए अस्पतालों द्वारा किए गए दावों की प्रतिपूर्ति मोटर वाहन दुर्घटना निधि से की जाएगी। कार्यक्रम को एक आईटी प्लेटफार्म के माध्यम से कार्यान्वित किया जाएगा। यह भी पढ़ें: 5 मिनट में खत्म हो गया प्रश्नकाल, अंतिम दिन सुक्खू सरकार के पास नहीं थे जवाब

पुलिस की भूमिका रहेगी काफी अहम

सडक़ दुर्घटनाओं के लिए त्वरित प्रतिक्रिया सुनिश्चित करना और पीडि़तों को निकटतम स्वास्थ्य सुविधा तक तत्काल पहुंचाने के लिए आपातकालीन सेवाओं के साथ समन्वय करना पुलिस का काम होगा। पुलिस को यह सुनिश्चित करना होगा कि दुर्घटना का विवरण ठीक से दर्ज किया जाए, जो योजना के तहत कैशलेस उपचार का लाभ उठाने में सहायता करेगा। यह भी पढ़ें: हिमाचल : घर बैठे मोटी कमाई करने चली थी महिला, लगा 20.38 लाख का चूना

स्वास्थ्य विभाग रहे सजग

अस्पतालों को दुर्घटना पीडि़तों को तत्काल देखभाल प्रदान करने की आवश्यकता है, यह सुनिश्चित करते हुए कि वित्तीय चिंताओं के कारण उपचार में देरी न हो। स्वास्थ्य सुविधाओं को राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण के तहत बीमा कंपनियों या संबंधित अधिकारियों के साथ समन्वय करते हुए योजना के अनुसार नकद रहित उपचार प्रक्रिया शुरू करनी चाहिए।

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