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October 2, 2024

शारदीय नवरात्रि 2024 : कल सुबह 4 बजे खुल जाएंगे हिमाचल के शक्तिपीठों के कपाट

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शिमला। हिमाचल के मंदिरों को शारदीय नवरात्र के लिए रंग-बिरंगे फूलों और लाइट्स से सजा दिया गया है। कल से शारदीय नवरात्र शरू हो रहे हैं। ऐसे में प्रदेश के शक्तिपीठों में तैयारियां भी जोरों-शोरों से चल रही हैं। नवरात्र में शक्तिपीठों के कपाट सुबह 4 बजे से खुलना शुरू हो जाएंगे।

शक्तिपीठों में आयोजित किया जाएगा नवरात्र मेला

प्रदेश के पांच शक्तिपीठों में 3 से 11 अक्टूबर तक नवरात्र मेले का आयोजन किया जाएगा। नवरात्र मेले में चिंतपूर्णी मंदिर 24 घंटे खुला रहेगा। जबकि, श्री नयनादेवी का दरबार साढ़े 21 घंटे तक खुला रहेगा। यह भी पढ़ें : हिमाचल- ग्राम सभा में नहीं शामिल हुआ 1500 वाला मुद्दा, 9 एजेंडे तय- जानें डिटेल

कब तक खुले रहेंगे कपाट

आपको बता दें कि इन सभी शक्तिपीठों में श्री ब्रजेश्वरी देवी, श्री ज्वालामुखी, श्री नयना देवी, श्री चामुंडा देवी और श्री चिंतपूर्णी में मां के स्नान, श्रृंगार और आरती अलग-अलग समय तय किया गया है।

24 घंटे खुला रहेगा दरबार

नवरात्र मेले के दौरान चिंतपूर्णी मंदिर श्रद्धालुओं के लिए 24 घंटे खुला रहेगा। दोपहर को मां के श्रृंगार और भोग आदि के लिए मंदिर कुछ समय के लिए बंद रहेगा। सुबह 4 बजे मां के स्नान के बाद श्रृंगार किया जाएगा और फिर मां को आरती के साथ भोग लगाया जाएगा। इसके बाद दोपहर 12 से 12.30 बजे तक मंदिर बंद रहेगा। यह भी पढ़ें : हिमाचल में अब न्यूनतम दिहाड़ी 400 रुपए, एक किल्क में जानिए पूरी डिटेल

लगाया जाएगा विशेष भोग

श्री नयनादेवी मंदिर रात 12 से 2 बजे तक बंद किया जाएगा। इन दो घंटों में मां का स्नान और श्रृंगार के बाद मां की एक साथ चार आरतियां की जाएंगी। मंदिर में दोपहर 12 से 12.30 बजे और शाम को मां को हलवा, चने, पूरी, बर्फी, मेवा और फलों का विशेष भोग लगाया जाएगा।

सुबह 4 बजे होगा श्रृंगार

ज्वाला जी मंदिर सुबह 4 बजे खुलेगा और रात को श्रद्धालुओं की लाइन खत्म होने तक खुला रहेगा। मां का सुबह 4 बजे स्नान और श्रृंगार होगा और फिर आरती होगी। यह भी पढ़ें : शिमला से डगशाई जेल तक -10 बार शिमला आए थे महात्मा गांधी, यहां जानें अनसुने किस्से

मेवे और फलों का भोग

श्रीचामुंडा देवी मंदिर में नवरात्र के दौरान मां को विशेष भोग लगाए जाएंगे। सावन अष्टमी नवरात्र में मंदिर सुबह 5 बजे खुलेगा और रात को 10 बजे तक बंद होगा। शाम को 4 बजे मां को फिर स्नान किया जाएगा और श्रृंगार के बाद शाम 8.15 बजे मां की आरती होगी। इस दौरान मां को मेवे और फलों का भोग लगाया जाएगा।

रात 2 बजे खुलेंगे कपाट

श्री ब्रजेश्वरी देवी मंदिर नवरात्र के दौरान सुबह 4 बजे से रात 10 बजे तक खुला रहेगा। अष्टमी वाले दिन रात 2 बजे मंदिर के कपाट खोल दिए जाएंगे। यह भी पढ़ें : हिमाचल- चारा लाने जंगल गया था बुजुर्ग, भालू ने पीछे से किया अटैक, फिर..

कब शुरू हो रहे शारदीय नवरात्र?

शारदीय नवरात्रि 2024 में 3 अक्टूबर यानी कल से शुरू हो रहे हैं, जो गुरुवार के दिन है और आश्विन माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि को यह प्रारंभ होगी। यह नौ दिवसीय पर्व 12 अक्टूबर, 2024 को दशहरे के साथ समाप्त होगा। वर्ष में चार नवरात्रि पर्व होते हैं, जिनमें माघ, चैत्र, आषाढ़ और शारदीय नवरात्रि शामिल हैं। इनमें से शारदीय नवरात्रि को सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है और इसे महा नवरात्रि भी कहा जाता है। यह भी पढ़ें : कांग्रेस में होने जा रहा बड़ा बदलाव- नए चेहरों की होगी संगठन में एंट्री

क्या है कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त?

शारदीय नवरात्रि के पहले दिन, 3 अक्टूबर 2024 को कलश स्थापना के लिए दो शुभ मुहूर्त निर्धारित किए गए हैं। अश्विन मास की शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि का आरंभ 3 अक्टूबर को सुबह 12:19 पर होगा और इसका समापन 4 अक्टूबर को सुबह 2:58 पर होगा।
  • कलश स्थापना का पहला शुभ मुहूर्त 3 अक्टूबर को सुबह 6:19 से 7:23 तक है।
  • दूसरा शुभ मुहूर्त दोपहर 11:40 से 12:33 तक रहेगा।
भक्त इन दोनों समय में अपने घर में कलश स्थापना कर सकते हैं और नवरात्रि का शुभारंभ विधि-विधान से कर सकते हैं।

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