शिमला। हिमाचल प्रदेश की जनता को प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल आईजीएमसी में इलाज करवाने के लिए कई दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। दरअसल, लोकसभा चुनाव की आचार संहिता के बीच आईजीएमसी में हिमकेयर योजन के तहत निःशुल्क इलाज को बंद कर दिया है। अस्पताल के ज्यादातर सुपर स्पेशियलिटी विभागनों ने सर्जरी बंद कर दी है।
IGMC में सर्जरी बंद
प्रदेश के पूर्व सीएम द्वारा प्रदेश की जनता के लिए हिम केयर योजना शुरू की गई थी। हिम केयर कार्ड धारक का अस्पताल में पांच लाख रुपए तक का मुफ्त इलाज किया जाता है। मगर अब अस्पताल में जरूरतमंद लोगों को हिमकेयर योजना के तहत फ्री इलाज ना मिलने के कारण काफी परेशानी हो रही है।
अस्पताल में कार्डियोलॉजी, सर्जरी, ऑर्थो और कार्डियोथोरेसिक वैस्कुलर सर्जरी जैसे बड़े विभागों ने सर्जरी बंद कर दी है।
सिर्फ IGMC का ही 70 करोड़ बकाया
आईजीएमसी के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. राहुल राव ने कहा कि हिम केयर योजना में कुछ बदलाव करने की जरूरत है। उन्होंने बताया किअस्पताल की ओर से हिम केयर योजना को लेकर सारा फीडबैक सरकार को दे दिया है। आईजीएमसी का हिमकेयर में 70 करोड़ रुपए बकाया हो गया है।
सर्जरी के लिए सामान देने वाली कंपनियां और उधार झेलने के लिए तैयार नहीं है। इसके चलते सुपर स्पेशियलिटी विभागों में सर्जरी बंद कर दी गई है। मगर हिमकेयर के तहत मरीजों को दवाइयां दी जा रही हैं।
मरीजों को झेलनी पड़ रही परेशानी
बता दें कि स्वास्थ्य मंत्री धनीराम शांडिल ने विधानसभा के बजट सत्र में कहा था कि इस साल 31 मार्च से पहले लंबति भुगतान कर दिया जाएगा। मगर ऐसा कुछ नहीं हुआ, जिसके चलते अब आम जनता को अस्पताल में परेशानी झेलनी पड़ रही है। सूत्रों के अनुसार, प्रदेशभर में हिमकेयर योजना का 300 करोड़ रुपए से ज्यादा का बकाया बताया जा रहा है।