शिमला। हिमाचल की सुक्खू सरकार महंगाई पर लगाम लगाने में नाकाम साबित हो रही है। आलम यह है कि रोजमर्रा की चीजों के दाम आसमान छूने लगे हैं। इस सब के बीच हिमाचल में दूध से बनी चीजों के दाम बढ़ गए हैं। मिल्क फेडरेशन ने अभी कुछ माह पहले ही दूध के दाम 2 रूपए बढ़ाकर जहां 49 कर दिए थे, वहीं अब दूध से बनी चीजों के दामों में भी बड़ी बढ़ोतरी की गई है।
घी, पनीर और बटर के दामों में की बढ़ोतरी
हिमाचल में अब दूध के साथ साथ घी, पनीर और बटर भी महंगा हो गया है। इन रोजमर्रा की चीजों के दाम बढ़ने से आम जनता की जेब पर एक बार फिर महंगाई की मार पड़ी है।
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घी के दामों में जहां 50 रुपए तक की बढ़ोतरी की गई है, वहीं बटर के दाम 40 रुपए बढ़ा दिए गए हैं। इसी तरह से पनीर 20 रुपए महंगा हो गया है।
जनता की जेब पर पड़ेगा असर
जनता को दूध से बने प्रोडेक्टस खरीदने के लिए अब अपनी जेब और ज्यादा ढीली करनी पड़ेगी। लोगों को घी पहले जो 620 रुपए प्रतिकिलो मिल जाता था, उसके लिए अब लोगों को 700 रुपए चुकाने होंगे। इसी तरह से लोगों को बटर जहां पहले 540 रुपए प्रतिकिलो मिल जाता था, उसके लिए अब 580 रुपए देने पड़ेंगे।
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पनीर भी अब लोगों को 390 रुपए प्रतिकिलो के हिसाब से मिलेगा। प्रबंधन की ओर से हिम खोया, बटर मिल्क, हिम दही, खुला दही, दूध पैकेट, फ्लेवर वाला दूध उत्पाद के दाम में बढ़ोतरी नहीं की गई है।
यह हैं नई कीमतें
- घी- 700 रुपए प्रति किलोग्राम
- बटर- 580 रुपए प्रति किलोग्राम
- पनीर- 390 रुपए प्रति किलोग्राम
लोग गुणवत्ता बढ़ाने की कर रहे मांग
आम जनता का कहना है कि मिल्क फेडरेशन ने पिछले साल मार्च माह में दूध के दाम बढ़ाए थे। लेकिन इस बार फरवरी माह में ही दूध के दाम बढ़ा दिए। वहीं अब रही सही कसर उन्होंने दूख से बनी चीजों के दाम बढ़ाकर पूरी कर दी है।
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दूध से बने प्रोडेक्टस के दाम बढ़ने से आज जनता की मुश्किलें बढ़ गई हैं। लोगों का कहना है कि दाम बढ़ाने के साथ साथ प्रोडक्ट्स की गुणवत्ता को क्यों नहीं बढ़ाया जा रहा।
बता दें कि, हिमाचल में मिल्क फेडरेशन के कुल 6 प्लांट हैं जिनमे से मुख्य शिमला के दतनगर में स्थित है। इसी प्लांट के चिल्लिंग सेंटर से दूध और अन्य मिल्क प्रोडक्ट्स एकत्र कर प्रदेश के 150 से अधिक बिक्री केन्द्रों पर उपलब्ध कराए जाते हैं।