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October 5, 2024

जयराम सरकार में भी लगा था सीवरेज पर हर माह 200 का शुल्क, देखें नोटिफिकेशन

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शिमला। हिमाचल प्रदेश में टॉयलेट सीट टैक्स को लेकर बवाल बढ़ गया है। विवाद के बाद राज्य सरकार ने बैकडेट से नोटिफिकेशन जारी करते हुए अपना फैसला वापस ले लिया है। यह मामला तब और गर्माया जब हाल ही में एक और नोटिफिकेशन सामने आई, जिसने पूर्व भाजपा सरकार की नीतियों को उजागर किया। वहीं, बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं ने इसकी खिलाफत की थी। लेकिन जयराम ठाकुर के समय की सरकार में भी कुछ ऐसी ही घटना सामने आई थी। जिससे जुड़ी एक नोटिफिकेशन भी वायरल हो रही है।

पूर्व सरकार की नीतियों का खुलासा

बीते 21 सितंबर को राज्य सरकार ने एक नोटिफिकेशन जारी किया, जिसमें उन लोगों से 25 रुपये प्रति सीट टैक्स लेने की बात कही गई थी।अब इस मामले में एक पुरानी नोटिफिकेशन सामने आई है, जो 6 सितंबर 2018 को जारी की गई थी। [caption id="attachment_21085" align="aligncenter" width="526"]Notification Notification[/caption] यह भी पढ़ें : हिमाचल में रेत, बजरी हो सकती है महंगी- खनन पर लगेंगे 3 तरह के शुल्क तत्कालीन एसीएस शहरी विकास विभाग, राम सुभाग सिंह द्वारा जारी इस नोटिफिकेशन में कहा गया था कि जिनके पास सरकारी पानी का कनेक्शन नहीं है, लेकिन वे सरकारी सीवरेज का उपयोग कर रहे हैं, उनसे 200 रुपये प्रतिमाह सीवरेज चार्ज लिया जाएगा। इस शुल्क में हर साल 10% की बढ़ोतरी का भी आदेश था।

नोटिफिकेशन का हुआ विरोध

बता दें कि 21 सितंबर को जारी हुई नोटिफिकेशन में सरकार ने 25 रूपय टैक्स वसूलने की बात कही कहा गया कि जिनके पास पानी का कनेक्शन नहीं था, लेकिन वे सरकारी सीवरेज का इस्तेमाल कर रहे थे। इस निर्णय पर व्यापक विरोध हुआ, जिसके चलते सरकार को अपनी नोटिफिकेशन वापस लेनी पड़ी। यह भी पढ़ें : हिमाचल : पहले दोनों दोस्तों ने साथ में पी शराब, फिर एक ने ली दूसरे की जा*न बता दें कि देश भर में हिमाचल सरकार के इस नए फरमान की चर्चा हुई। केंद्रीय मंत्रियों ने भी सरकार को इस विषय पर घेरा। जिसके बाद सुक्खू सरकार ने इसे वापस लेने का निर्णय किया।

डिप्टी सीएम का बयान

वहीं, डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री ने इस मुद्दे पर कहा है कि उनकी सरकार ने कोई टॉयलेट टैक्स नहीं लगाया है और भविष्य में भी ऐसा कोई टैक्स नहीं लगेगा। उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि भाजपा गलत बयानबाजी कर लोगों को गुमराह कर रही है। यह भी पढ़ें : CM सुक्खू के गृह जिला में बिजली चोरी करते पकड़े दो उपभोक्ता, लगाया अढ़ाई लाख जुर्माना उन्होंने यह भी कहा कि 2018 में जारी सीवरेज शुल्क की नोटिफिकेशन को उनकी सरकार ने समाप्त कर दिया है। जबकि हाल की नोटिफिकेशन पर उन्होंने कहा कि यह केवल एक ड्राफ्ट थी, जिसे तुरंत खारिज कर दिया गया था।

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