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October 6, 2024

सुक्खू सरकार इन शिक्षकों को देगी तोहफा- बढ़ेगा वेतन, साथ ही मिलेगा एरियर

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शिमला। हिमाचल प्रदेश के सरकारी स्कूलों में कार्यरत 2039 व्यावसायिक (वोकेशनल टीचर) शिक्षकों को दिवाली के अवसर पर सरकार ने वेतन में बढ़ोतरी का तोहफा दिया है। यह फैसला शिक्षकों की मेहनत और योगदान को मान्यता देने के लिए किया गया है। नया वेतन अप्रैल 2024 से लागू होगा जिसके तहत शिक्षकों को 1200 रुपये से लेकर 2200 रुपये तक का बढ़ा हुआ वेतन मिलेगा।

वेतन में होगा इजाफा

बता दें कि वेतन बढ़ने के साथ ही शिक्षकों को पिछले छह महीने का एरियर भी जारी किया जाएगा। जिसके बाद से शिक्षकों में खुशी की लहर है। वहीं, राज्य परियोजना निदेशक राजेश शर्मा ने इस संबंध में अधिसूचना जारी की है। उन्होंने बताया कि 19,500 रुपये वेतन प्राप्त करने वाले शिक्षकों का वेतन अब बढ़कर 20,700 रुपये हो जाएगा। इसी प्रकार, 21,500 रुपये वेतन पाने वाले शिक्षकों को 23,700 रुपये का वेतन मिलेगा। यह भी पढ़ें : हिमाचल : पहले दोनों दोस्तों ने साथ में पी शराब, फिर एक ने ली दूसरे की जा*न

हाल ही में की थी शिक्षा मंत्री से मुलाकात

यह बढ़ोतरी शिक्षकों की मेहनत को ध्यान में रखते हुए की गई है और इससे उनके वेतन से ईपीएफ (कर्मचारी भविष्य निधि) और ईएसआईसी (कर्मचारी राज्य बीमा निगम) भी कटेगा।इस वृद्धि की घोषणा के बाद, शिक्षकों के बीच खुशी की लहर दौड़ गई है। बीते शुक्रवार को व्यावसायिक शिक्षकों के एक प्रतिनिधिमंडल ने शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर से सचिवालय में मुलाकात की थी। इस बैठक में शिक्षकों ने अपने वेतन में वृद्धि की मांग की थी, जिसे सरकार ने गंभीरता से लिया और तुरंत कार्रवाई की गई। यह भी पढ़ें : शिमला की संजौली मस्जिद पर आया बड़ा फैसला, तीन मंजिलों को तोड़ने के आदेश

एरियर भी मिलेगा

समग्र शिक्षा निदेशालय ने यह भी स्पष्ट किया है कि वोकेशनल ट्रेनिंग कंपनियों को नवंबर में मिलने वाले अक्तूबर के वेतन में भी बढ़ोतरी की जाएगी। शिक्षकों का एरियर, जो अप्रैल से सितंबर तक का है, 20 अक्तूबर तक जारी किया जाएगा। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि शिक्षकों को समय पर उनका हक मिले। यह भी पढ़ें : अनुराग ने पूछा: टॉयलेट टैक्स की नौबत क्यों आई ? हिमाचल की हर तरफ हो रही जगहंसाई

स्थाई नीति की मांग

इसके अतिरिक्त, शिक्षकों ने सरकार से स्थाई नीति बनाने की भी मांग की है, ताकि भविष्य में ऐसी समस्याओं का सामना न करना पड़े। उन्होंने कहा कि उन्हें कंपनियों से छुटकारा दिलाने की आवश्यकता है, जिससे उनकी नौकरी की स्थिरता सुनिश्चित हो सके। इस निर्णय को लेकर शिक्षकों ने सरकार का धन्यवाद किया है और आशा जताई है कि भविष्य में भी उनकी मेहनत को इसी तरह मान्यता मिलेगी।

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