मंडी। हिमाचल प्रदेश में अपराधिक गतिविधियों का ग्राफ बढ़ता जा रहा है। प्रदेश भर से आए दिन मर्डर व दुष्कर्म जैसे कई मामले सामने आते रहते हैं। यौन अपराधों से जुड़े मामलों में पीड़िताओं को इंसाफ पाने के लिए लंबे समय का इंतजार करना पड़ता है।
मगर हिमाचल के जिला मंडी में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश (पोक्सो) की फास्ट ट्रैक विशेष अदालत ने सिर्फ एक साल की सुनवाई के बाद ही नाबालिग लड़की के साथ घर में दुष्कर्म करने वाले आरोपी को कठोर कारावास की सजा सुना दी है।
दादी के पास अकेली थी बच्ची
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दुष्कर्म का यह मामला 20 अगस्त, 2023 का है। पीड़िता के माता-पिता उसके भाई की चिकित्सीय जांच के लिए शिमला गए हुए थे। वह पीड़िता को उस वक्त घर पर उसकी दादी के पास छोड़ गए थे। इस दौरान उनके घर पर रहने वाले एक व्यक्ति ने उसके साथ दुष्कर्म किया।
घर पर ही रहता था आरोपी
वहीं, जब 23 अगस्त को पीड़िता के माता-पिता शिमला से लौटे तो पीड़िता ने अपनी मां को पूरी बात बताई। फिर, 24 अगस्त को पीड़िता की मां ने करसोग पुलिस थाने में आकर आरोपी के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई। उन्होंने बताया कि आरोपी पिछले काफी समय से उनके पास ही रहता है।
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मामले पर गंभीरता से संज्ञान लेते हुए पुलिस टीम ने मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी। इसके बाद आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया और फिर मामला कोर्ट पहुंचा।
मिली यह कठोर सजा
जहां एक साल तक सुनवाई चली और मुकदमे के दौरान कोर्ट में 14 गवाहों को पेश करने, सभी दलीलों को सुनकर अदालत ने व्यक्ति को नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने का दोषी पाया। अब अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश (पोक्सो) की फास्ट ट्रैक विशेष अदालत ने पोक्सो अधिनियम की धारा 6 और 10 के तहत क्रमश: 20 साल और पांच साल के कठोर कारावास और 50 हजार और 10 हजार रुपए जुर्माना अदा करने की सजा सुनाई है।
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वहीं, जुर्माना ना देने पर सजा की वृद्धि का भी प्रावधान किया गया है। जुर्माना अदा ना करने पर उसे क्रमश: दो साल और छह महीने का अतिरिक्त कठोर कारावास भुगतना होगा।