मंडी: बीते सप्ताह जोगिंद्रनगर से अमृतसर जा रही एचआरटीसी बस के पिछले सभी टायर कोटला गांव के नजदीक खुलने का मामला सामने आया था। हालांकि इस घटना में कोई भी सवारी हताहत नहीं हुई थी। जब इस घटना की जांच की गई तो निगम ने चालक को दोषी पाया। जिसके बाद निगम प्रबंधन ने चालक को निलंबित कर दिया था। मगर अब निलंबित चालक का कहना है कि उस पर लगाए सभी आरोपों को निराधार हैं।
यह हैं निलंबित चालक के आरोप
मिली जानकारी के अनुसार, निलंबित बस चालक विशन दास ने जिला मंडी के तहत आते धर्मपुर बस अड्डे में पत्रकारों से बातचीत के दौरान आरोप लगाते हुए कहा कि, टाटा की रकाबें अशोका लेलैंड गाड़ी में डालने से यह घटना घटी घटी है।
बिना काम पूरा हुए रूटों पर भेजी जा रही बसें
निलंबित किए ड्राइवर विशन दास ने कहा कि असल में जिनकी गलती है उन्हें बचाया जा रहा है। आगे उन्होंने कहा कि बस का काम पूरा हुए बिना बसों को जबरदस्ती रूटों पर भेजा जाता है। जब कोई चालक इनकार करता है तो चार्जशीट का डर दिखाकर डराया जाता है।
हेड मैकेनिक व निगम प्रबंधक को बता रहा दोषी
निलंबित चालक के साथ अन्य चालकों ने भी निगम प्रबंधन को चेताया है कि, यदि समय रहते निलंबित चालक को बहाल नहीं किया गया तो सभी धरने पर बैठ जाएंगे।
कोर्ट का दरवाजा खटखटाएगा निलंबित चालक
इतना ही नहीं उन्होंने कहा कि हम कोर्ट का दरवाजा खटखटाने से भी गुरेज नहीं करेंगे। निलंबित चालक ने इस हादसे के लिए हेड मैकेनिक व निगम प्रबंधक को दोषी ठहराया है।
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क्षेत्रीय प्रबंधक बोले, एकतरफा नहीं हुई कार्रवाई
वहीं, इस मामले पर हिमाचल पथ परिवहन निगम धर्मपुर के क्षेत्रीय प्रबंधक ने बताया कि इस हादसे के लिए पूर्ण रूप से चालक ही जिम्मेदार है। हालांकि क्षेत्रीय प्रबंधक ने यह भी माना कि बस में टाटा की रकाबें डाली गई थीं, जबकि यह गाड़ी अशोका लेलैंड की है।
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बावजूद इसके चालक के खिलाफ एकतरफ़ी कार्रवाई जैसा कुछ नहीं है। तकनीकी जांच के बाद चालक की लापरवाही सामने आई है। उसी के आधार पर कार्रवाई अमल लाई गई है।